Description
हम सभी की जिंदगी में एक लिस्ट होती है। हमारे सपनों की लिस्ट, छोटी-मोटी खुशियों की लिस्ट। सुधा की जिंदगी में भी एक ऐसी ही लिस्ट थी। हम सभी अपनी सपनों की लिस्ट को पूरा करते-करते लाइफ गुज़ार देते हैं। जब सुधा अपनी लिस्ट पूरी करते हुए लाइफ़ की तरफ़ पहुँच रही थी तब तक चंदर 30 साल का होने तक वो सबकुछ कर चुका था जो कर लेना चाहिए था। तीन बार प्यार कर चुका था, एक बार वो सच्चा वाला, एक बार टाइम पास वाला और एक बार लिव-इन वाला। वो एक पर्फेक्ट लाइफ चाहता था।
मुसाफिर Cafe कहानी है सुधा की, चंदर की, उन सारे लोगों की जो अपनी विश लिस्ट पूरी करते हुए perfect लाइफ खोजने के लिए भटक रहे हैं।
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